जगदलपुर। छत्तीसगढ़ के लोक निर्माण विभाग (विद्युत यांत्रिकी शाखा) में पदस्थ कार्यपालन अभियंता (ईई) अजय कुमार को एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) की टीम ने रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। यह कार्रवाई उस वक्त हुई जब अजय कुमार अपने सरकारी निवास, साकेत कॉलोनी (जगदलपुर) में एक ठेकेदार से दो लाख रुपये की रिश्वत ले रहा था।
जानकारी के अनुसार अभियंता अजय कुमार निविदा प्रक्रिया शुरू करने से पहले और बिल भुगतान से पूर्व ठेकेदारों से नियमित तौर पर मोटी रकम की मांग करता था। इससे तंग आकर ठेकेदार नरेंद्र पटेल ने एसीबी में शिकायत की। शिकायत की पुष्टि के बाद एसीबी ने जाल बिछाया और जैसे ही पटेल तय रकम लेकर अभियंता के निवास पहुंचा, वहां पहले से तैनात टीम ने छापा मार दिया और आरोपी को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ पकड़ लिया।
ठेकेदार ने खुलासा किया कि अभियंता अजय कुमार बीते तीन वर्षों से इसी पद पर तैनात था और बिना पैसे कोई काम नहीं करता था। उन्होंने बताया कि कई बार बिल पास करवाने के लिए उन्हें घर के जेवर तक गिरवी रखने पड़े। ठेकेदारों से टेंडर दिलाने और भुगतान की प्रक्रिया में खुलेआम परसेंटेज की मांग की जाती थी। यही नहीं, अधिकारी यह भी कहता था कि पैसे ऊपर तक पहुंचाने होते हैं, इसलिए "सिस्टम" में देना जरूरी है।
एसीबी डीएसपी रमेश मरकाम ने मामले की पुष्टि करते हुए बताया कि शिकायत सही पाए जाने पर यह कार्रवाई की गई। आरोपी के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 7 के तहत केस दर्ज कर विधिक कार्रवाई शुरू कर दी गई है।
यह मामला एक बार फिर सरकारी तंत्र में फैले भ्रष्टाचार की पोल खोलता है, जिसमें रिश्वतखोरी एक सामान्य प्रक्रिया बन चुकी है। एसीबी की इस कार्रवाई को ईमानदार ठेकेदारों के लिए राहत और भ्रष्ट अधिकारियों के लिए चेतावनी माना जा रहा है।
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